मिल के
सजाएं।
बहना हमारी
तुझे, मिल के
सजाएं।
सोलहो
श्रृंगार करके दुल्हन बनाएं।।
बहना हमारी
तुझे,सब मिल
सजाएं।।
रहो खुश सदा
तुम, हल्दी लगाओ।
जुड़े के
फूलों जैसा, घर महकाओ।।
शुभकर्म से
री बहना,सभी
मुस्कराएं।
बहना हमारी
तुझे, मिल के
सजाएं।।
स्नेह प्रेम
वाली कंगन,कलाई में
डालें।
खुशियों भरा
हो जीवन,चूड़ी
पह्नालें।।
सुहागन रहो
री बहना, भाग्य
जगाएं।
बहना हमारी
तुझे, मिल के
सजाएं।।
मान
प्रतिष्ठा बहना, माथे की
बिंदिया।
सौभाग्य
सूचक तेरी, माथे
सिन्दुरिया।।
सखियाँ
सहेली सब मिल, सुमंगलि
गायें।
बहना हमारी
तुझे, मिल के
सजाएं।।
अपना वो घर
होगा,हम भी
तुम्हारे हैं।
घर अब दोनों
तेरे, प्यार के
सहारे है।।
ससुराल
तुझको पाकर, स्वर्ग बन
जाए।
बहना हमारी
तुझे, मिल के
सजाएं।।
-उमेश यादव
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